“शुक्लां ब्रह्मविचारसारपरमामाद्यां जगद्व्यापिनीम्
वीणापुस्तकधारिणीमभयदां जाड्याऽन्धकारापहाम् ।
हस्तेस्फाटिकमालिकां विदधतीं पद्मासने संस्थिताम्
वन्दे तां परमेश्वरीं भगवती बुद्धिप्रदां शारदाम्।।
”‘‘बसंत’’ अर्थात ‘बस अंत’ प्रदूषण और सिंगल यूज प्लास्टिक का अंत यही हमारा सच्चा बसंत है। सभी के…
